तेरे बिना मेरा हर भाव अधूरा है,तेरे बिना मेरा हर ख्वाब अधूरा है,दिल से तमन्ना है शायद तुझे पाने की,इसलिए तेरे बिना मेरा हर जज्बात अधूरा है। लेखक -रितेश गोयल 'बेसुध'
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